तनहाइयों के बादल फिर घिर आये हैं
तेरे चले जाने से
अब वक़्त नहीं गुजरता
इन दीवारों को घूरने से
छु लू अगर मैं कोई चीज़
फिर वो नहीं मिलती
यह घर, घर नहीं लगता
तेरे चले जाने से
तेरे चले जाने से
अब वक़्त नहीं गुजरता
इन दीवारों को घूरने से
छु लू अगर मैं कोई चीज़
फिर वो नहीं मिलती
यह घर, घर नहीं लगता
तेरे चले जाने से
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